May 7, 2024

आज फिर एक नई ग़ज़ल

 एक बार फिर कोलकता के सम्मानित अख़बार/पत्रिका "सदीनामा", ख़ास तौर से शाइर आदरणीय ओमप्रकाश नूर साहब, का बेहद शुक्रिया। सदीनामा निरंतर सामाजिक सरोकारों वाली ग़ज़लें प्रकाशित करके अपने सामाजिक दायित्व का निर्वहन कर रहा है।इस बार मेरे साथ ही भाई श्री दर्द गढ़वाली साहब की भी बेहतरीन ग़ज़ल छपी है। दर्द साहब को भी बहुत-बहुत मुबारकबाद।दर्द गढ़वाली साहब बहुत अच्छे शेर कहते हैं। अब तक आपके दो ग़ज़ल-संग्रह मंज़र-ए-आम पर आ चुके हैं।

--ओंकार सिंह विवेक 


8 comments:

  1. बेहतरीन शायरी

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    1. आभार आदरणीया।आप सदैव उत्साह बढ़ाती हैं

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  2. बहुत सुंदर... बधाई

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    1. बेहद शुक्रिया भाई जी, आपको भी बधाई।

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  3. Behatreen,badhai

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  4. Behtreen,badhai

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