February 1, 2021

आना-जाना होता है

4 comments:

  1. आपकी इस प्रविष्टि् की चर्चा कल बुधवार (03-02-2021) को  "ज़िन्दगी भर का कष्ट दे गया वर्ष 2021"  (चर्चा अंक-3966)
     
     पर भी होगी। 
    -- 
    सूचना देने का उद्देश्य है कि यदि किसी रचनाकार की प्रविष्टि का लिंक किसी स्थान पर लगाया जाये तो उसकी सूचना देना व्यवस्थापक का नैतिक कर्तव्य होता है। 
    -- 
    हार्दिक शुभकामनाओं के साथ।  
    सादर...! 
    डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक' 
    --

    ReplyDelete
  2. बहुत बढ़िया ग़ज़ल

    ReplyDelete
  3. बहुत अच्छी गजल!--ब्रजेंद्रनाथ

    ReplyDelete
  4. उम्दा ग़ज़ल ।हर शेर मुकम्मल।

    ReplyDelete

Featured Post

बात सोहार्द और सद्भावना की

नमस्कार मित्रो 🌷🌷🙏🙏 हम जिस मिश्रित सोसाइटी में रहे हैं उसमें सांप्रदायिक सौहार्द और सद्भावना की बहुत ज़रूरत है। त्योहार वे चाहे किसी भी ...